समन्दर पटेल के तुफानी जनसम्पर्क को देख विरोधीयों की हिल गई चुल्हे

Neemuch 19-11-2018 Regional

समंदर पटेल को हराना मुश्किल हो चला है..... ?

पटेल के ट्रेक्टर का खोफ इतना कि मुख्यमंत्री तक से कहलवाना पडा......

रिपोर्ट- ब्यूरों डेस्क-

जावद। जावद विधानसभा क्षेत्र के निर्दलीय उम्मीदवार समंदर पटेल की लोकप्रियता का ग्राफ मतदाताओ कार्यकर्ताओ के मध्य इतनी तेजी से बढ़ता जा रहा है कि वर्तमान विधायक अपने परम्परागत प्रतिद्वंदी पार्टी के प्रत्याशी को तो भूल गये है और ऐसा लगने लगा है कि उनका सीधा मुकाबला समंदर पटेल से हो चला है। इसकी बानगी भर यह है कि दो दिन पूर्व रतनगढ़ घाटे पर अपने समर्थन मे मुख्यमंत्री जी की सभा को आनन फानन मे सकलेचा को करवाना पड़ाजबकि चुनाव की शुरूवात भर हुई हैकिन्तु मात्र चार दिनो मे ही समंदर पटेल ने अपनी सहज मिलनसारीता जावद क्षेत्र की जनता के मध्य बड़ रही लोकप्रियता और भाजपा कांग्रेस से नाराज कार्यकर्ताओपदाधिकारीयो द्वारा दिये जा रहे खुलेआम समर्थन से विधायकजी घबरा से गये है। सूत्र तो कह रहे है कि इस बार उलटी गणित शुरू हो गई है। 15 साल मे कार्यकर्ता ओर मतदाता विधायकजी कार्यशैली ओर बढ़बोलेपन से इतना उब चुकी है कि कोई उनके लिऐ काम करने को को भी तैयार नही है और जो थोड़े बहुत भाजपा कार्यकर्ता अपनी पार्टी निष्ठा के चलते दिखावे के तौर पर ही उनके साथ है। अन्दरूनी तौर पर वे भी परिवर्तन चाहते है। चूकि क्षेत्र के निष्ठावान भाजपाईयो का अंतरमन कांग्रेस को वोट देने मे तो गड़बड़ा जाता है किन्तु विकल्प के तौर पर सामाजिक और आर्थिक समीकरणो के नजरिेये से भी साफ स्वच्छ छबि के किसान पुत्र स्थापित उद्योगपति समंदर पटेल उनकी पहली पसंद बनते जा रहे है। पटेल के पक्ष मे युवा वर्ग भी तेजी से जुड़ रहा है तो बुजुर्गो का आशीर्वाद भी उन्हे मिल रहा है। जावद मे रहकर भी मालवा के मेट्रोसिटी इंदौर मे आये दिन क्षेत्र के लोगो को शिक्षाव्यापारचिकित्सा के लिऐ जाना पढ़ता है और विगत 10 वर्षो से अपनी कार्यशैली ओर लोगो के सहज भाव से काम आने की प्रवत्ति वाले समंदर पटेल इस मामले मे अपनी ऐसी स्थापित छबि जावद क्षेत्र के लोगो के मन मे निरूपित कर चूके है कि उनकी इस योग्यता और सहजता से पार पाना भाजपाकांग्रेस दोनो ही पार्टीयो के उम्मीदवारो के लिऐ मुश्किल हो चला है। इसका जीता जागता उदाहरण रतनगढ़ घाटे पर आये मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान ने जब अपना12 मीनीट का संक्षिप्त संबोधन दिया तो उसमे भी सखलेचा ने आग्रह करवाकर कांग्रेस के प्रत्याशी के खिलाफ कुछ कहलवाने के बजाय नाम न लेते हुऐ समंदर पटेल के लिऐ यह कहलवाया कि अपना वोट ''निर्दलीय प्रत्याशी'' को मत देना.... अब क्या कहे ट्रेक्टर घाटे पर पूरे दम से चढ़ गया है। मतदाताओ कार्यकर्ताओ के दिल मे उतर गया है। तो आखिर मुख्यमंत्री को कहना ही पड़ा....।