शिव सेना की फायर ब्रांड महिला नैत्री स्नेहलता विजय शर्मा बनेगी स्वच्छता सेनीको की आवाज
शिव सेना का अगला कदम "स्वच्छता सेनीको" के सम्मान के लिये होगा.....
रिपोर्ट-धर्मेन्द्र कोठारी
नीमच। कहने को तो भारत सरकार ने सफाई कर्मचारी को बराबरी का दर्जा दिया हुआ है, पर क्या वाकई सफाई कर्मचारी को बराबरी का दर्जा हमारे समाज मे मिल पा रहा है। सफाई कर्मचारीयो की पीडा सुनने, जानने का लिये इनकी सुध लेने के लिये कोई भी राजनितीक संगठन आगे नही आता। सफाई कर्मचारी केवल कर्मचारी नही है, ये हमारे देश के स्वच्छता सैनीक है और शिव सेना संगठन के पदाधिकारी बहूत जल्द इन सैनिको से घर-घर जाकर मिलेंगे और इन्हे होने वाली असुविधा का निराकरण किया जायेगा तथा इनकी आवाज सरकार तक पहुंचायेंगे। कुछ दिन पहले ही हमारी स्वच्छता सैनीक बहिनो से बात हूई थी, उन्होने उनकी पीडा बतायी थी। किस तरह से इतनी मेहनत करने के बाद भी इनका शोषण हो रहा है। कई भाई-बहिने बेरोजगार है और अनेक जगह ठेका पध्दती लागू होने के कारण जो पहले कर्मचारी थे, वो भी बेरोजगार हो गऐ है। जरुरत होने के बावजुद इनकी कोई सुनवाई करने वाला नही है। स्वच्छता सैनिको को इनका अधिकार मिलना चाहीये। एक तरफ तो प्रधान मंत्री द्वारा स्वच्छता अभियान का नारा दिया जाता है, वही दुसरी और सफाई कर्मचारी इतनी मेहनत करने के बावजुद उन्हे समाज मे घृणा की दृष्टि से देखा जाता है। यदी सफाई कर्मचारी नही होंगे तो हर घर कुडेदान बनकर रह जाऐगा। इसलीये हमे ही स्वच्छता सैनीको का सम्मान करना होगा। हम कामकाजी लोग केवल अपने घर और ऑफीस का कार्य करते है। लेकिन स्वच्छता सैनिक के उपर पुरे शहर की सफाई की जिम्मेदारी होती है। जिसे ये बखुबी निभाते है। क्यो ना एक दिवस "स्वच्छता सैनीको" के नाम का घोषित किया जाये और इन्हे पुर्ण सम्मान मिले।